चाल और वेग किसे कहते हैं? परिभाषा, मात्रक, विमा, Speed and Velocity in Hindi

इस लेख में हम चाल और वेग के बारे में जानेंगे। यहां पर इस से संबंधित विभिन्न प्रश्न व टॉपिक के बारे में बताया गया है। जैसे :- चाल किसे कहते हैं?, वेग किसे कहते हैं, चाल और वेग की परिभाषा, चाल और वेग में अंतर, चाल व वेग के सूत्र formula, speed and velocity in hindi के बारे में विस्तृत रूप से बताया गया है। विधार्थी कि सहायता के लिए नोट्स पीडीएफ भी उपलब्ध कराता गया है।

चाल (Speed in Hindi)

किसी भी गतिशील पिंड की चाल का आंकलन कैसे किया जाता है, चाल का सूत्र (formula), चाल का मात्रक, चाल की परिभाषा, किसे कहते हैं? इत्यादि के बारे में जानेंगे।

चाल किसे कहते हैं? क्या है !

कोई गतिशील वस्तु किसी समय में तय की दूरी को चाल कहते है। अर्थात इकाई समय तय की दूरी को चाल कहते हैं।

जैसे कोई कार 10 सेकण्ड में 200 मीटर दूरी तय करती हैं। यहां कार की गति की दिशा नहीं ज्ञात है।

चाल की परिभाषा(Definition of Speed in hindi) :-

यहां पर चाल की PARIBHASHA को दिया गया हैं।

" किसी वस्तु द्वारा एकांक समय में तय की गई दूरी को चाल कहते हैं। अथवा दूरी में परिवर्तन की दर को चाल कह सकते हैं।"
  • चाल एक अदिश राशि है। (अर्थात चाल का मान दिशा पर निर्भर नहीं करता)
  • किसी वाहन की चाल स्पीडोमीटर यंत्र द्वारा मापा जाता है।

चाल का सूत्र (Formula of Speed) :-

फार्मूला :- चाल = दूरी / समय

चाल का SI मात्रक :-

मीटर/सेकण्ड (m/s)

चाल का मात्रक (C.G.S.) :-

सेंटीमीटर/सेकण्ड (cm/s)

चाल की विमा (विमीय सूत्र) :-

[M0L1T-1]

Note :- गतिमान कण के लिए चाल कभी शून्य अथवा ऋणात्मक नहीं हो सकती है, सदैव धनात्मक होती है।

चाल के प्रकार (Type of Speed in Hindi)

Chal के प्रकार यहां पर दिए गए है। Type of speed in hindi परीक्षा की दृष्टि से काफी महत्व पूर्ण हैं।

(1) एक समान चाल :-

जब कोई कण समान समय अंतराल में समान दूरी तय करता है तब कण की चाल एक समान चाल कहलाती है।

जैसे:- एक मोटर साइकिल पहले 10 सेकण्ड में 50 मीटर दूरी तय करती हैं और दूसरे 10 सेकण्ड में भी समान दूरी तय करती है।

(2) असमान चाल (परिवर्ती चाल) :-

जब कोई कण समान समय अंतराल में असमान दूरी तय करता है तब कण की चाल असमान अथवा परिवर्ति चाल कहलाती है।

उदाहरण :- माना जब कोई पिंड या वस्तु पहले 5 सेकण्ड में 20 मीटर दूरी तय करती है, और दूसरे 5 सेकण्ड में 15 मीटर तो यहां वस्तु की चाल, असमान चाल है।

(3) औसत चाल (Average Speed in Hindi) :-

औसत चाल (Average Speed in Hindi) किसे कहते हैं :-

किसी वस्तु द्वारा तय की गई कुल दूरी तथा उस दूरी को तय करने में लगे समय के अनुपात को औसत चाल कहते हैं।

औसत चाल कैसे ज्ञात करे :-

औसत चाल ज्ञात करने के लिए किसी पिंड या वस्तु द्वारा जो दूरियां तय की गई उसका योग और उन दूरियों। को तय करने में लगा समय को जोड़कर भाग देने पर औसत चाल प्राप्त होती है।

औसत चाल का सूत्र :-

V av = ∆s/∆t

V av = S2 – S1 / T2 – T1

(4) तात्क्षणिक चाल (Instantaneous Speed) :-

किसी निश्चित समय या क्षण पर वस्तु की चाल को तात्क्षणिक चाल कहते हैं। जब हम चाल कहते है तो इसका सामान्य अर्थ तात्क्षणिक चाल से ही होता है। इसके लिए समय अंतराल ∆t बहुत अल्प होना चाहिए !

अर्थात ∆t = 0

V = ds/dt

तात्क्षणिक चाल या चाल गतिमान वस्तु के वेग का परिमाण है।

वेग (Velocity in Hindi)

गतिशील पिंड या कण के वेग की गणना कैसे की जाती है उसके बारे में यहां बताया गया है।

वेग किसे कहते हैं? वेग की परिभाषा क्या है। वेग का फार्मूला , मात्रक, उदाहरण, paribhasha इत्यादि के बारे में यहां बताया गया है।

वेग किसे कहते हैं ? क्या है !

किसी गतिशील वस्तु द्वारा निश्चित दिशा में एकांक समय में तय की गई दूरी को वस्तु का वेग कहते है।

वेग की परिभाषा (Definition of Velocity in Hindi) :-

“विस्थापन में समय के सापेक्ष परिवर्तन की दर वेग कहलाती है।”

  • वेग एक सदिश राशि है।

वेग का सूत्र (Formula of Velocity) :-

वेग = विस्थापन/समय

वेग का SI मात्रक :-

मीटर/सेकण्ड (m/s)

वेग का मात्रक (C.G.S.) :-

सेंटीमीटर/सेकण्ड (cm/s)

वेग की विमा (विमीय सूत्र) :-

[M0L1T-1]

वेग के प्रकार (Type of Velocity in Hindi)

वेग के विभिन्न प्रकार को यहां पर उल्लेखित किया गया है।

(1) एक समान वेग :-

जब कोई कण इस प्रकार गतिशील हो ताकि कण के वेग का परिमाण तथा दिशा दोनों ही समान रहें तब कण का वेग एक समान वेग कहलाता है। यह केवल तभी सम्भव है जब कण एक सरल रेखा में एक ही दिशा में नियत वेग से गतिशील हो, तब त्वरण शून्य हो।

(2) असमान वेग :-

जब कोई कण इस प्रकार गतिशील जो ताकि कण के वेग का परिमाण अथवा दिशा अथवा दोनों परिवर्तित हो तब कण का वेग असमान वेग कहलाता है।

(3) औसत वेग (Average Velocity) :-

किसी वस्तु के कुल विस्थापन तथा उस विस्थापन में लगे कुल समय के अनुपात को औसत वेग कहते हैं।

औसत वेग का सूत्र (Formula of average Velocity) :-

V av = ∆x/ ∆t

(4) तात्क्षणिक वेग (Instantaneous Velocity in Hindi) :-

किसी निश्चित समय या क्षण पर वस्तु के वेग को तात्क्षणिक वेग कहते हैं।

V = dx/dt

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चाल और वेग में अंतर (Diffrence between Speed and Velocity)

यहां पर चाल और वेग में अंतर के बारे में बताया गया हैं।

औसत चाल और औसत वेग में अंतर

  • औसत चाल एक अदिश राशि है जबकि औसत वेग विस्थापन की भांति एक सदिश राशि है।
  • गतिशील कण के लिए औसत चाल कभी ऋणात्मक अथवा शून्य नहीं हो सकती, जबकि औसत वेग ऋणात्मक अथवा शून्य हो सकता है।
  • यदि गतिशील कण अपनी प्रारम्भिक स्थिति में पुनः आ जाता है तब औसत वेग शून्य होता है परन्तु औसत चाल कभी शून्य नहीं हो सकती वो या तो नियत होती है या शून्य से अधिक ।
  • किसी दिए गए समय अंतराल के लिए औसत वेग का केवल एक ही मान होता है जबकि औसत चाल के अनेक मान हो सकते है। जो तय किए गए पथ पर निर्भर करते है।
  • जब विस्थापन का परिमाण कुल पथ की लंबाई के बराबर होगा तब वस्तु के औसत वेग का परिमाण उसकी औसत चाल के बराबर होगा।

तात्क्षणिक चाल और तात्क्षणिक वेग में अंतर

  • तात्क्षणिक वेग का परिमाण, तात्क्षणिक चाल के बराबर होता है।
  • जब कोई कण नियत वेग से गतिशील होता है तब कण का औसत वेग तथा तात्क्षणिक वेग सदैव समान होता है।
  • तात्क्षणिक वेग सदैव कण द्वारा तय किया गए पथ की स्पर्श रेखीय दिशा में होता है।
  • ऐसा सम्भव है कि किसी कण का तात्क्षणिक चाल नियत हो परन्तु तात्क्षणिक वेग परिवर्ति हो।
    • उदाहरण :- किसी कण की एक समान वृतीय गति।

चाल एवं वेग के उदाहरण (प्रश्न-उतर)

Q.1. कोई कार एक सरल रेखा के अनुदिश गतिमान है। कार O से चलकर 18 सेकण्ड में P तक पहुंचती है। फिर 6.0 सेकण्ड में स्थिति Q पर वापस आ जाती है। कार के औसत वेग तथा औसत चाल की गणना कीजिए जब (i) कार O से P तक जाती है तथा (ii) जब वह O से P तक जाकर पुन Q पर वापस आ जाती है।

उतर :-

(i) जब कार O से P तक जाती है :-

औसत वेग = कुल विस्थापन/ कुल समय

= 360/18= +20 मीटर/सेकण्ड

औसत चाल = कुल दूरी/कुल समय

= 360/18 = 20 मीटर/सेकण्ड

इस स्थिति में गति की दिशा एक होने से औसत वेग का परिमाण औसत चाल के तुल्य है।

(ii) द्वितीय स्थिति :-

औसत वेग = विस्थापन / समय

= 240/24= +10 मीटर /सेकण्ड

औसत चाल = कुल दूरी/कुल समय

360+120/ 18+6 = 20 मीटर/सेकण्ड

इस स्थिति में गति की दिशा परिवर्तित होने से दूरी का मान विस्थापन के परिमाण से अधिक है जिससे औसत वेग का परिमाण औसत चाल के तुल्य नहीं है। अत औसत चाल,औसत वेग से अधिक है।

नमस्कार मेरा नाम मानवेन्द्र है। मैं वर्तमान में Pathatu प्लेटफार्म पर लेखन और शिक्षण का कार्य करता हूँ। मैंने विज्ञान संकाय से स्नातक किया है और वर्तमान में राजस्थान यूनिवर्सिटी से भौतिक विज्ञान विषय में स्नात्तकोत्तर कर रहा हूँ। लेखन और शिक्षण में दिसलचस्पी होने कारण मैंने यहाँ कुछ जानकारी उपलब्ध करवाई हैं।